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Shashwati Dviteeyo Bhag class 12 - NCERT: शाश्वती द्वितीयो भाग 12वीं कक्षा - एनसीईआरटी

by Rashtriy Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad

शाश्वती द्वितीयो भागः 12वीं कक्षा का राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् ने पुस्तक संस्कृत भाषा में प्रकाशित किया गया है, इस पुस्तक में कुल चौहद पाठ हैं, साथ ही साथ इस पाठपुस्तक में सिखाने वाले के दृष्टीकोण से जब शिक्षा भारमुक्त होगी तो वह स्वयमेव एक 'आनन्दप्रद अनुभूति' सिद्ध होगी । इस पाठ्यक्रम में आनन्दवृद्धि के लिए ऐसे ज्ञान-सन्दर्भो का समावेश किया गया है, जिनमें उदात्त जीवन मूल्य है, जिनमें घटना-वैचित्र्य के साथ ही साथ आधुनिक जनजीवन का प्रतिबिम्ब भी है ।

Shashwati Prathamo Bhag class 11 - NCERT - 23: शाश्वती प्रथमो भागः ११वीं कक्षा - एनसीईआरटी - २३

by Rashtriy Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad

शाश्वती प्रथमो भाग 11वीं कक्षा का राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् ने पुस्तक संस्कृत भाषा में प्रकाशित किया गया है, इस पुस्तक में कुल ग्यारह पाठ हैं, साथ ही साथ किताब के अंत में परिशिष्ठ के तीन भाग भी दिये है। इस पाठ्यक्रम में आनन्दवृद्धि के लिए ऐसे ज्ञान-सन्दर्भो का समावेश किया गया है, जिनमें उदात्त जीवन मूल्य है, जिनमें घटना-वैचित्र्य के साथ ही साथ आधुनिक जनजीवन का प्रतिबिम्ब भी है।

Shashwati Prathamo Bhag class 11 - NCERT: शाश्वती प्रथमो भाग 11वीं कक्षा - एनसीईआरटी

by Rashtriy Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad

शाश्वती प्रथमो भाग 11वीं कक्षा का राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् ने पुस्तक संस्कृत भाषा में प्रकाशित किया गया है, इस पुस्तक में कुल चौदह पाठ हैं, साथ ही साथ किताब के अंत में परिशिष्ठ के तीन भाग भी दिये है। इस पाठ्यक्रम में आनन्दवृद्धि के लिए ऐसे ज्ञान-सन्दर्भो का समावेश किया गया है, जिनमें उदात्त जीवन मूल्य है, जिनमें घटना-वैचित्र्य के साथ ही साथ आधुनिक जनजीवन का प्रतिबिम्ब भी है ।

Shashwati Prathamo Bhag class 11 - SCERT Raipur - Chhattisgarh Board: शाश्वती प्रथमो भाग 11 वीं कक्षा - एस.सी.ई.आर.टी. रायपुर - छत्तीसगढ़ बोर्ड

by Raipur C. G. Rajya Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad

शाश्वती कक्षा 11 वी का राज्य शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् छत्तीसगढ़ रायपुर ने पुस्तक संस्कृत भाषा में प्रकाशित किया गया है, इस पाठपुस्तक में सिखाने वाले के दृष्टीकोण से जब शिक्षा भारमुक्त होगी तो वह स्वयमेव एक 'आनन्दप्रद अनुभूति' सिद्ध होगी । इस पाठ्यक्रम में आनन्दवृद्धि के लिए ऐसे ज्ञान-सन्दर्भो का समावेश किया गया है, जिनमें उदात्त जीवन मूल्य है, जिनमें घटना-वैचित्र्य के साथ ही साथ आधुनिक जनजीवन का प्रतिबिम्ब भी है ।

Shemushi Dviteeyo Bhag class 10 - Himachal Pradesh Board: शेमुषी द्वितीयो भागः कक्षा १० - हिमाचल प्रदेश बोर्ड

by Himachal Pradesh Board of School Education - Dharamshala

संस्कृत के नवीन पाठ्यक्रम में निर्धारित लक्ष्यों के अनुरूप नवम कक्षा के लिए शेमुषी प्रथम भाग नामक पाठ्यपुस्तक के अनंतर दशम कक्षा के लिए यह शेमुषी द्वितीय भाग पुनरीक्षित संस्करण (2017) प्रस्तुत किया जा रहा है। इस संकलन में संस्कृत को जीवन्त भाषा के रूप में देखा गया है जिसकी धारा निरन्तर प्रवाहित होती रही है। इसीलिए इसमें आधुनिक संस्कृत रचनाओं के समावेश के साथ अन्य भाषाओं के साहित्य से अनूदित पाठों को भी ग्रहण किया गया है। पाठों के आरम्भ में पाठ-सन्दर्भ दिए गए हैं जिनसे पाठ-प्रसंगों को समझा जा सके। छात्रों को सीखने का अधिकाधिक अवसर मिल सके इसलिए पाठों के अन्त में विविध अभ्यासों वाली प्रश्नावली दी गयी है। छात्र पाठों को स्वयमेव समझ सकें इसके लिए ‘शब्दार्थाः’ शीर्षक के अन्तर्गत पाठ में आए नवीन तथा कठिन शब्दों के संस्कृत तथा हिंदी में अर्थ दिए गए हैं। ‘योग्यता-विस्तार’ के अन्तर्गत ऐसी सामग्री दी गई है जिससे छात्र ज्ञान के अग्रिम चरण की ओर सहज उन्मुख हो सकें। अध्यापकों के लिए पर्याप्त शिक्षण-संकेत दिए गए हैं ताकि निर्धारित पाठ्य बिंदुओं को ध्यान में रखकर अध्यापन कर सकें। पाठों को दृश्य विधि से स्पष्ट करने के लिए विषयानुकूल चित्र भी दिए गए हैं। इस पुस्तक में कुल 12 पाठ रखे गए हैं। इनमें सात पाठ प्राचीन ग्रन्थों से तथा पाँच पाठ आधुनिक मौलिक अथवा अनूदित संस्कृत रचनाओं से लिए गए हैं।

Shemushi Dviteeyo Bhag class 10 - NCERT - 23: शेमुषी द्वितीयो भाग १०वीं कक्षा - एनसीईआरटी - २३

by Rashtriy Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad

शेमुषी द्वितीयो भागः 10वीं कक्षा का राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् ने पुस्तक संस्कृत भाषा में प्रकाशित किया गया है, इस पुस्तक में कुल दस पाठ हैं- संस्कृत के नवीन पाठ्यक्रम में निर्धारित लक्ष्यों के अनुरूप नवम कक्षा के लिए शेमुषी प्रथम भाग नामक पाठ्यपुस्तक के अनंतर दशम कक्षा के लिए यह शेमुषी द्वितीय भाग पुनरीक्षित संस्करण (2022) प्रस्तुत किया जा रहा है। इस संकलन में संस्कृत को जीवन्त भाषा के रूप में देखा गया है जिसकी धारा निरन्तर प्रवाहित होती रही है। इसीलिए इसमें आधुनिक संस्कृत रचनाओं के समावेश के साथ अन्य भाषाओं के साहित्य से अनूदित पाठों को भी ग्रहण किया गया है। पाठों के आरम्भ में पाठ-सन्दर्भ दिए गए हैं जिनसे पाठ-प्रसंगों को समझा जा सके। छात्रों को सीखने का अधिकाधिक अवसर मिल सके इसलिए पाठों के अन्त में विविध अभ्यासों वाली प्रश्नावली दी गयी है।

Shemushi Dviteeyo Bhag class 10 - NCERT: शेमुषी द्वितीयो भाग 10वीं कक्षा - एनसीईआरटी

by Rashtriy Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad

शेमुषी द्वितीयो भागः 10वीं कक्षा का राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् ने पुस्तक संस्कृत भाषा में प्रकाशित किया गया है, इस पुस्तक में कुल बारह पाठ हैं – संस्कृत के नवीन पाठ्यक्रम में निर्धारित लक्ष्यों के अनुरूप नवम कक्षा के लिए शेमुषी प्रथम भाग नामक पाठ्यपुस्तक के अनंतर दशम कक्षा के लिए यह शेमुषी द्वितीय भाग पुनरीक्षित संस्करण (2017) प्रस्तुत किया जा रहा है। इस संकलन में संस्कृत को जीवन्त भाषा के रूप में देखा गया है जिसकी धारा निरन्तर प्रवाहित होती रही है। इसीलिए इसमें आधुनिक संस्कृत रचनाओं के समावेश के साथ अन्य भाषाओं के साहित्य से अनूदित पाठों को भी ग्रहण किया गया है। पाठों के आरम्भ में पाठ-सन्दर्भ दिए गए हैं जिनसे पाठ-प्रसंगों को समझा जा सके। छात्रों को सीखने का अधिकाधिक अवसर मिल सके इसलिए पाठों के अन्त में विविध अभ्यासों वाली प्रश्नावली दी गयी है।

Shemushi Prathmo Bhag class 9 - Himachal Pradesh Board: शेमुषी द्वितीयो भागः कक्षा ९ - हिमाचल प्रदेश बोर्ड

by Himachal Pradesh Board of School Education - Dharamshala

संस्कृत के नवीन पाठ्यक्रम में निर्धारित लक्ष्यों के अनुरूप नवम कक्षा के लिए शेमुषी (प्रथमो भागः) नामक पाठ्यपुस्तक का प्रणयन किया गया है। नवीन पाठ्यक्रम एवं वर्तमान पुस्तक की विशिष्टताओं में सर्वप्रथम उल्लेखनीय है कि इसमें संस्कृत को एक जीवन्त भाषा के रूप में देखा गया है जिसकी धारा निरन्तर प्रवाहित होती रही है। इसी दृष्टि से इसमें आधुनिक संस्कृत रचनाओं के समावेश के साथ ही साथ अन्य भाषाओं के साहित्य से अनूदित रचनाओं को भी ग्रहण किया गया है। पाठों के आरंभ में पाठ-संदर्भ दिये गये हैं, जिनसे छात्र पाठ-प्रसंग को सरलता से समझ सकेंगे। छात्रों को सीखने के अधिकाधिक अवसर देने के लिए पाठों के अन्त में विविध-प्रश्नों वाली अभ्यासचारिका दी गयी है। छात्र पाठों को स्वयमेव समझ सकें इसके लिए 'शब्दार्थाः' शीर्षक के अन्तर्गत पाठ में आये सभी नवीन तथा कठिन शब्दों के संस्कृत, हिन्दी तथा अंग्रेजी में अर्थ दिये गये हैं। योग्यता-विस्तार के अन्तर्गत ऐसी सामग्री दी गयी है, जिससे छात्र ज्ञान के अग्रिम चरण की ओर सहज ही उन्मुख हो सकें। अध्यापकों के लिए यथेष्ट रूप से शिक्षण-संकेत भी दिये गये हैं ताकि निर्धारित पाठ्यबिन्दुओं को ध्यान में रखते हुए अध्यापन किया जा सके। पाठों को दृश्य-विधि से स्पष्ट करने के लिए विषयानुकूल चित्रों का समावेश करके पुस्तक को आकर्षक बनाया गया है। इस पुस्तक में कुल 12 पाठ रखे गये हैं जिनमें छह पाठ प्राचीन ग्रन्थों से तथा छह पाठ आधुनिक रचनाओं से हैं। आधुनिक पाठों में भी चार पाठ संस्कृत की मौलिक रचनाओं तथा दो पाठ दूसरी भाषाओं से अनुवाद के रूप में हैं।

Shemushi Prathmo Bhag class 9 - NCERT - 23: शेमुषी प्रथमो भागः ९वीं कक्षा - एनसीईआरटी - २३

by Rashtriy Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad

शेमुषी प्रथमो भागः 9वीं कक्षा का राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् ने पुस्तक संस्कृत भाषा में प्रकाशित किया गया है, इस पुस्तक में कुल बारह पाठ हैं – संस्कृत के नवीन पाठ्यक्रम में निर्धारित लक्ष्यों के अनुरूप नवम कक्षा के लिए शेमुषी (प्रथमो भागः) नामक पाठ्यपुस्तक का प्रणयन किया गया है। नवीन पाठ्यक्रम एवं वर्तमान पुस्तक की विशिष्टताओं में सर्वप्रथम उल्लेखनीय है कि इसमें संस्कृत को एक जीवन्त भाषा के रूप में देखा गया है जिसकी धारा निरन्तर प्रवाहित होती रही है। इसी दृष्टि से इसमें आधुनिक संस्कृत रचनाओं के समावेश के साथ ही साथ अन्य भाषाओं के साहित्य से अनूदित रचनाओं को भी ग्रहण किया गया है। पाठों के आरंभ में पाठ-संदर्भ दिये गये हैं, जिनसे छात्र पाठ-प्रसंग को सरलता से समझ सकेंगे। छात्रों को सीखने के अधिकाधिक अवसर देने के लिए पाठों के अन्त में विविध-प्रश्नों वाली अभ्यासचारिका दी गयी है।

Shemushi Prathmo Bhag class 9 - NCERT: शेमुषी प्रथमो भागः 9वीं कक्षा - एनसीईआरटी

by Rashtriy Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad

शेमुषी प्रथमो भागः 9वीं कक्षा का राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् ने पुस्तक संस्कृत भाषा में प्रकाशित किया गया है, इस पुस्तक में कुल बारह पाठ हैं – संस्कृत के नवीन पाठ्यक्रम में निर्धारित लक्ष्यों के अनुरूप नवम कक्षा के लिए शेमुषी (प्रथमो भागः) नामक पाठ्यपुस्तक का प्रणयन किया गया है। नवीन पाठ्यक्रम एवं वर्तमान पुस्तक की विशिष्टताओं में सर्वप्रथम उल्लेखनीय है कि इसमें संस्कृत को एक जीवन्त भाषा के रूप में देखा गया है जिसकी धारा निरन्तर प्रवाहित होती रही है। इसी दृष्टि से इसमें आधुनिक संस्कृत रचनाओं के समावेश के साथ ही साथ अन्य भाषाओं के साहित्य से अनूदित रचनाओं को भी ग्रहण किया गया है। पाठों के आरंभ में पाठ-संदर्भ दिये गये हैं, जिनसे छात्र पाठ-प्रसंग को सरलता से समझ सकेंगे। छात्रों को सीखने के अधिकाधिक अवसर देने के लिए पाठों के अन्त में विविध-प्रश्नों वाली अभ्यासचारिका दी गयी है।

Shyamla Sanskrit class 10 - SCERT Raipur - Chhattisgarh Board: श्यामला संस्कृत 10 वीं कक्षा - एस.सी.ई.आर.टी. रायपुर - छत्तीसगढ़ बोर्ड

by Raipur C. G. Rajya Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad

Shyamla Sanskrit text book for 10th standard from Rajya Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad, Raipur, C.G. in Sanskrit.

Spandana class 10 - RBSE Board: स्पन्दना 10वीं कक्षा - आरबीएसई बोर्ड

by Madhyamik Shiksha Board Rajasthan Ajmer

स्पन्दना कक्षा 10वीं यह पुस्तक माध्यमिक शिक्षा बोर्ड राजस्थान, अजमेर ने संस्कृत भाषा में प्रकाशित किया गया है, प्रस्तुत पुस्तक राजस्थान शिक्षा मण्डल, अजमेर के प्राकृत भाषा एवं साहित्य के 11 वीं कक्षा के छात्र-छात्राओं के लिए तैयार की गई है, जिसमें उन्हें प्राकृत भाषा, साहित्य, व्याकरण, वाक्य-बोध के प्रति मार्ग-दर्शन दिया गया है । इस पाठ्यपुस्तक में विभिन्न अध्याय और उनके अभ्यास प्रश्न दिये गए है, हर अध्याय का विस्तार मे विविरण किया गया है ।

Subhashika Dviteeyo Bhag class 7 - JCERT: सुभाषिका द्वितीयो भागः ७वीं कक्षा - जेसीईआरटी

by Jharkhand Shaikshik Anusandhan Evam Prashikshan Parishad Ranchi

"सुभाषिका" द्वितीयो भाग झारखंड शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद द्वारा प्रकाशित संस्कृत की पाठ्यपुस्तक है, जिसका उद्देश्य कक्षा 7 के छात्रों को संस्कृत भाषा का बुनियादी ज्ञान प्रदान करना है। यह पुस्तक विशेष रूप से संस्कृत भाषा की महत्ता और उसकी सांस्कृतिक धरोहर को समझाने पर केंद्रित है। इसमें 16 पाठ शामिल हैं, जिनमें कविताएँ, श्लोक, संवाद, कथाएँ और चित्रकथाएँ सम्मिलित हैं। प्रत्येक पाठ भाषा की सरलता और प्रवाह को ध्यान में रखते हुए तैयार किया गया है, ताकि छात्रों को संस्कृत भाषा से लगाव हो। पुस्तक में "गौरवम् संस्कृतम्" जैसे श्लोकों के माध्यम से संस्कृत भाषा की समृद्धि और गौरव को उजागर किया गया है, जबकि "बुद्धिर्यस्य बलं तस्य" जैसे पाठ बुद्धि की महत्ता पर बल देते हैं। इसके अतिरिक्त, पाठ्यक्रम में झारखंड की सांस्कृतिक विरासत को भी स्थान दिया गया है, जैसे "सरहुल पर्व" और भगवान बिरसा मुण्डा की गाथाएँ। इस पुस्तक का उद्देश्य विद्यार्थियों में संस्कृत भाषा के प्रति रुचि पैदा करना और उनके नैतिक और सांस्कृतिक विकास में योगदान देना है।

Subhashika Prathamo Bhag class 6 class - JCERT: सुभाषिका प्रथमो भागः ६वीं कक्षा - जेसीईआरटी

by Jharkhand Shaikshik Anusandhan Evam Prashikshan Parishad Ranchi

"सुभाषीका" एक संस्कृत पाठ्यपुस्तक है जो झारखंड शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद द्वारा प्रकाशित की गई है। यह पुस्तक झारखंड के विद्यार्थियों के लिए नि:शुल्क वितरित की जाती है और इसमें संस्कृत भाषा के प्राचीन साहित्य, व्याकरण, तथा शब्दावली का अध्ययन किया गया है। पुस्तक का मुख्य उद्देश्य विद्यार्थियों को संस्कृत भाषा की बुनियादी जानकारी देना और उन्हें भाषा की संरचना तथा साहित्य से परिचित कराना है। इसमें विभिन्न प्रकार के अभ्यास, कहानियाँ, श्लोक और शिक्षाप्रद कथाएँ शामिल हैं जो बच्चों में नैतिक मूल्यों का विकास करने के साथ-साथ उनकी भाषा कौशल को भी सुदृढ़ करते हैं। पुस्तक में संस्कृत वर्णमाला, शब्दरूप, धातुरूप और वाक्य रचना पर विशेष ध्यान दिया गया है, ताकि छात्रों को संस्कृत पढ़ने और समझने में आसानी हो। विभिन्न पाठ्यक्रम और शिक्षण विधियों को ध्यान में रखते हुए, इस पुस्तक में डिजिटल संसाधनों का भी समावेश किया गया है, जिससे शिक्षकों और छात्रों को अतिरिक्त शैक्षिक सामग्री तक पहुंचने में सुविधा होती है। कुल मिलाकर, यह पुस्तक विद्यार्थियों को संस्कृत भाषा की महत्ता और उसकी उपयोगिता से अवगत कराती है।

Subhashika Tritiyo Bhag class 8 - JCERT: सुभाषिका तृतीयो भागः ८वीं कक्षा - जेसीईआरटी

by Jharkhand Shaikshik Anusandhan Evam Prashikshan Parishad Ranchi

यह सुभाषिका पाठ्यपुस्तक कक्षा 8 के छात्रों के लिए तैयार की गई है, जिसका उद्देश्य संस्कृत भाषा और नैतिक मूल्यों की शिक्षा देना है। इसमें 17 पाठ हैं, जिनमें से कुछ गद्यात्मक और कुछ पद्यात्मक हैं। पाठ्यक्रम में छात्रों को संस्कृत के सरल और प्रभावी तरीके से पढ़ाया जाता है, जिसमें संस्कृत श्लोक, कहानियाँ, और निबंध शामिल हैं। उदाहरण के लिए, नीतिश्लोक पाठ छात्रों को नैतिकता, सत्कर्म, और धैर्य के मूल्यों से परिचित कराता है, जबकि 'निवारणीया इयं प्रथा' दहेज प्रथा के खिलाफ जागरूकता बढ़ाने के लिए लिखा गया नाटक है। ‘यक्ष-युधिष्ठिर संवाद’ महाभारत के प्रमुख प्रसंगों में से एक है, जो जीवन के महत्वपूर्ण प्रश्नों पर प्रकाश डालता है। गद्यांशों में भी रोचक कथाएँ और प्रसंग दिए गए हैं, जैसे नदी की आत्मकथा और लोककथाएँ, जिनसे छात्रों को भाषा और संस्कृति की गहरी समझ विकसित होती है। हर पाठ के अंत में शब्दार्थ, प्रश्नोत्तरी और अभ्यास दिए गए हैं ताकि छात्रों को भाषाई कौशल और संस्कृत के व्याकरणिक पहलुओं का सही ज्ञान हो सके।

Surbhi (Sanskrit) class 6 - SCERT Raipur - Chhattisgarh Board: सुरभि (संस्कृत) 6 वीं कक्षा - एस.सी.ई.आर.टी. रायपुर - छत्तीसगढ़ बोर्ड

by Raipur C. G. Rajya Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad

सुरभि पाठ्यपुस्तक कक्षा 6 वी का राज्य शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् छत्तीसगढ़ रायपुर ने संस्कृत भाषा में प्रकाशित किया गया है, इस पाठ्यपुस्तक में गद्य, पद्य, कथा, नाटक और संवाद को समामेलित किया गया है। कक्षा 6 सुरभि (संस्कृत) पाठ्य पुस्तक में अन्तर्निहित पाठ्य विषय छात्रों में राष्ट्र एवं संस्कृति के प्रति भावनात्मक एकता को बढायेंगे । कक्षा 6 संस्कृत में पठन-पाठन की व्यवस्था को दृष्टिगत रखते हुए वैज्ञानिक आविष्कार सङ्गणक, फ्रीज, रेडियो, वायुयान, चलितदूरभाष (मोबाइल), पर्यावरण गीत छत्तीसगढ के पर्व, वर्षागीतम्, बसन्तवर्णनम्, राष्ट्रीय पर्व, महापुरुषों की जीवनी, नीतिश्लोक, सूक्ति, आदि पाठों को समावेशित किया गया है।

Surbhi Sanskrit class 7 - SCERT Raipur - Chhattisgarh Board: सुरभि संस्कृत कक्षा 7 वीं - एस.सी.ई.आर.टी. रायपुर - छत्तीसगढ़ बोर्ड

by Raipur C. G. Rajya Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad

सुरभि पाठ्यपुस्तक कक्षा 7 वी का राज्य शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् छत्तीसगढ़ रायपुर ने संस्कृत भाषा में प्रकाशित किया गया है, इस पाठ्यपुस्तक में गद्य, पद्य, कथा और संवाद को समामेलित किया गया है। कक्षा 7 सुरभि (संस्कृत) में अध्ययन–अध्यापन की व्यवस्था में छत्तीसगढ़ के पर्व, कम्प्यूटर (संगणक) रायपुर नगर चाणक्य के वचन, ईदमहोत्सवः, गीताऽमृतम्, भोरमदेव, आदर्शछात्र, छत्तीसगढ़ की लोकभाषाएँ, संस्कृत में पत्र लेखन संस्कृत भाषा का महत्त्व, वसन्त वर्णन, पौराणिक कथा, पर्यावरण, नीति श्लोक, महापुरूषों की जीवनी, होलिकोत्सव व संस्कृत सूक्तियों को समावेशित किया गया है।

The Bhagavad Gita: India's Favorite Bible (A Harvard paperback, #34)

by Franklin Edgerton

To most good Vishnuites, and to most Hindus, the Bhagavad Gita is what the New Testament is to good Christians. It is their chief devotional book, and has been for centuries the principal source of religious inspiration for many millions of Indians. In this two-volume edition, Volume I contains on facing pages a transliteration of original Sanskrit and the Franklin Edgerton’s close translation. Volume II is Mr. Edgerton’s interpretation in which he makes clear the historical setting of the poem and analyzes its influence on later literature and its place in Indian philosophy. Sir Edwin Arnold’s beautiful translation, “The Song Celestial,” is also included in the second volume.

Vijetri Sanskrit Sahitya class 12 - RBSE Board: विजेत्री संस्कृत साहित्य कक्षा 12वी - आरबीएसई बोर्ड

by Madhyamik Shiksha Board Rajasthan Ajmer

विजेत्री संस्कृत साहित्य कक्षा 12वी का यह पुस्तक माध्यमिक शिक्षा बोर्ड राजस्थान, अजमेर ने प्रकाशित किया है। इस पाठ्यपुस्तक में गद्य, पद्य, नाट्य, संस्कृत साहित्य का इतिहास, और व्याकरण के बारे में बताया गया है। इस पुस्तक में संस्कृत के भाषा-कौशल्य के पाठ सम्मिलित किए गये है।

Vyakaran Kaumudi Dviteeyo Bhag class 10 - RBSE Board: व्याकरणकौमुदी द्वितीयो भाग 10वीं कक्षा - आरबीएसई बोर्ड

by Madhyamik Shiksha Board Rajasthan Ajmer

व्याकरणकौमुदी द्वितीयो भागः कक्षा 10वीं यह पुस्तक माध्यमिक शिक्षा बोर्ड राजस्थान, अजमेर ने संस्कृत भाषा में प्रकाशित किया गया है, प्रस्तुत पुस्तक राजस्थान शिक्षा मण्डल, अजमेर के प्राकृत भाषा एवं साहित्य के 11 वीं कक्षा के छात्र-छात्राओं के लिए तैयार की गई है, जिसमें उन्हें प्राकृत भाषा, साहित्य, व्याकरण, वाक्य-बोध के प्रति मार्ग-दर्शन दिया गया है । इस पाठ्यपुस्तक में विभिन्न अध्याय और उनके अभ्यास प्रश्न दिये गए है, हर अध्याय का विस्तार मे विविरण किया गया है ।

Vyakaran Kaumudi Prathamo Bhag class 9 - RBSE Board: व्याकरण-कौमुदी प्रथमो भागः 9वीं कक्षा - आरबीएसई बोर्ड

by Madhyamik Shiksha Board Rajasthan Ajmer

व्याकरणकौमुदी प्रथमो भागः कक्षा 9वीं यह पुस्तक माध्यमिक शिक्षा बोर्ड राजस्थान, अजमेर ने संस्कृत भाषा में प्रकाशित किया गया है, प्रस्तुत पुस्तक राजस्थान शिक्षा मण्डल, अजमेर के प्राकृत भाषा एवं साहित्य के 10 वीं कक्षा के छात्र-छात्राओं के लिए तैयार की गई है, जिसमें उन्हें प्राकृत भाषा, साहित्य, व्याकरण, वाक्य-बोध के प्रति मार्ग-दर्शन दिया गया है । इस पाठ्यपुस्तक में विभिन्न अध्याय और उनके अभ्यास प्रश्न दिये गए है, हर अध्याय का विस्तार मे विविरण किया गया है ।

Vyakaranavithi class 10 - NCERT - 23: व्याकरणवीथि: १०वीं कक्षा - एनसीईआरटी - २३

by Rashtriy Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad

व्याकरणवीथि: 10वीं कक्षा का राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् ने पुस्तक संस्कृत भाषा में प्रकाशित किया गया है, इस पुस्तक में कुल बारह पाठ हैं- इस पुस्तक में वैदिक काल से लेकर आधुनिक काल तक संस्कृत भाषा में लिखित शास्त्रों के सम्यक् अध्ययन, मनन एवं चिन्तन के लिए व्याकरण का ज्ञान आवश्यक है, क्योंकि व्याकरण भाषा को शुद्ध बनाकर उसका समुचित प्रयोग सिखाता है। व्याकरण शब्द (वि + आ + कृ + ल्युट्) से निष्पन्न है। व्याक्रियन्ते व्युत्पाद्यन्ते शब्दा: अनेन इति व्याकरणम् अर्थात् शब्दों की व्युत्पत्ति करने वाले, प्रकृति एवं प्रत्यय का निर्धारण करने वाले तथा उनके शुद्ध स्वरूप का विवेचन करने वाले शास्त्र को व्याकरणशास्त्र कहते हैं । अति प्राचीन काल से शास्त्रों में व्याकरण का प्रमुख स्थान है- मुखं व्याकरणं स्मृतम् । संस्कृत भाषा में व्याकरणशास्त्र का जितना सूक्ष्म तर्कपूर्ण एवं विस्तृत विवेचन हुआ है उतना विश्व की किसी अन्य भाषा में नहीं हुआ है । वेदों के सम्यक् अध्ययन, अर्थ बोध तथा वेद मंत्रों की व्याख्या के लिए वेदाङ्गों का ज्ञान अनिवार्य है।

Vyakaranavithi class 10 - NCERT: व्याकरणवीथिः 10वीं कक्षा - एनसीईआरटी

by Rashtriy Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad

व्याकरणवीथि: 10वीं कक्षा का राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् ने पुस्तक संस्कृत भाषा में प्रकाशित किया गया है, इस पुस्तक में कुल बारह पाठ हैं – इस पुस्तक में वैदिक काल से लेकर आधुनिक काल तक संस्कृत भाषा में लिखित शास्त्रों के सम्यक् अध्ययन, मनन एवं चिन्तन के लिए व्याकरण का ज्ञान आवश्यक है, क्योंकि व्याकरण भाषा को शुद्ध बनाकर उसका समुचित प्रयोग सिखाता है। व्याकरण शब्द (वि + आ + कृ + ल्युट्) से निष्पन्न है। व्याक्रियन्ते व्युत्पाद्यन्ते शब्दा: अनेन इति व्याकरणम् अर्थात् शब्दों की व्युत्पत्ति करने वाले, प्रकृति एवं प्रत्यय का निर्धारण करने वाले तथा उनके शुद्ध स्वरूप का विवेचन करने वाले शास्त्र को व्याकरणशास्त्र कहते हैं । अति प्राचीन काल से शास्त्रों में व्याकरण का प्रमुख स्थान है— मुखं व्याकरणं स्मृतम् । संस्कृत भाषा में व्याकरणशास्त्र का जितना सूक्ष्म तर्कपूर्ण एवं विस्तृत विवेचन हुआ है उतना विश्व की किसी अन्य भाषा में नहीं हुआ है । वेदों के सम्यक् अध्ययन, अर्थ बोध तथा वेद मंत्रों की व्याख्या के लिए वेदाङ्गों का ज्ञान अनिवार्य है।

Vyakaranavithi class 9 - NCERT - 23: व्याकरणवीथि: ९वीं कक्षा - एनसीईआरटी - २३

by Rashtriy Shaikshik Anusandhan Aur Prashikshan Parishad

व्याकरणवीथि: ९वीं कक्षा का राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् ने पुस्तक संस्कृत भाषा में प्रकाशित किया गया है, इस पुस्तक में कुल बारह पाठ हैं- इस पुस्तक में वैदिक काल से लेकर आधुनिक काल तक संस्कृत भाषा में लिखित शास्त्रों के सम्यक् अध्ययन, मनन एवं चिन्तन के लिए व्याकरण का ज्ञान आवश्यक है, क्योंकि व्याकरण भाषा को शुद्ध बनाकर उसका समुचित प्रयोग सिखाता है। व्याकरण शब्द (वि + आ + कृ + ल्युट्) से निष्पन्न है। व्याक्रियन्ते व्युत्पाद्यन्ते शब्दा: अनेन इति व्याकरणम् अर्थात् शब्दों की व्युत्पत्ति करने वाले, प्रकृति एवं प्रत्यय का निर्धारण करने वाले तथा उनके शुद्ध स्वरूप का विवेचन करने वाले शास्त्र को व्याकरणशास्त्र कहते हैं। अति प्राचीन काल से शास्त्रों में व्याकरण का प्रमुख स्थान है- मुखं व्याकरणं स्मृतम्। संस्कृत भाषा में व्याकरणशास्त्र का जितना सूक्ष्म तर्कपूर्ण एवं विस्तृत विवेचन हुआ है उतना विश्व की किसी अन्य भाषा में नहीं हुआ है। वेदों के सम्यक् अध्ययन, अर्थ बोध तथा वेद मंत्रों की व्याख्या के लिए वेदाङ्गों का ज्ञान अनिवार्य है।

Vyakaranshashtram Dviteeyo Bhag class 12 - RBSE Board: व्याकरणशास्त्रम् द्वितीयो भाग 12वीं कक्षा - आरबीएसई बोर्ड

by Madhyamik Shiksha Board Rajasthan Ajmer

व्याकरणशास्त्रम् द्वितीयो भागः 12वीं कक्षा यह पुस्तक माध्यमिक शिक्षा बोर्ड राजस्थान, अजमेर ने संस्कृत भाषा में प्रकाशित किया गया है, प्रस्तुत पुस्तक राजस्थान शिक्षा मण्डल, अजमेर के प्राकृत भाषा एवं साहित्य के 11 वीं कक्षा के छात्र-छात्राओं के लिए तैयार की गई है, जिसमें उन्हें प्राकृत भाषा, साहित्य, व्याकरण, वाक्य-बोध के प्रति मार्ग-दर्शन दिया गया है । इस पाठ्यपुस्तक में विभिन्न अध्याय और उनके अभ्यास प्रश्न दिये गए है, हर अध्याय का विस्तार मे विविरण किया गया है ।

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